भगवद् गीता अध्याय 2 श्लोक 42 – कुरुक्षेत्र में श्रीकृष्ण द्वारा अर्जुन को दिया वास्तविक ज्ञान और जीवन के प्रेरक संदेश
मोहक शब्दों का आकर्षण – शुरुआत की एक झलक ज़रा सोचिए, एक सभा का दृश्य। मंच पर खड़े वक्ता की वाणी ऐसी है मानो सुरों की नदी बह रही हो। शब्दों का इतना मधुर जाल कि श्रोता विस्मय से एक-दूसरे को देखने भी भूल जाते हैं। ऐसे क्षणों में लगता है कि जीवन का हर … Read more